अपराधी के शपथ-पत्र पर जिला विकास अधिकारी द्वारा विकास कार्यो की फर्जी रिपोर्ट लगाकर प्रधान की छवि धूमिल करने का प्रयास
चन्दगीराम मिश्रा
हरदोई:
हरदोई-26 मई मल्लावां विकास खण्ड की ग्राम पंचायत गंज जलालाबाद जो विकास के नित नए आयामों को युवा ग्राम प्रधान अभिषेक दीक्षित के नेतृत्व में गढ़ रही है। राजनीतिक द्वेष के चलते कुलदीप कटियार जो एक जघन्य अपराधी है। जिसने पूर्व काल में हरदोई से लेकर उन्नाव में पांच हत्यायें की थी तीन में सबूतों के अभाव में छूट गया था। गंज जलालाबाद में एक दोहरे हत्याकांड में जिसमें एक अध्यापक सहित रज्जू कुशवाहा की हत्या कर सर को धड़ से अलग कर अपने साथ ले गया था। इस जघन्य दोहरे हत्याकांड में हरदोई सेंसन कोर्ट से 20 साल की सजा भी प्राप्त है। जिसमें हाईकोर्ट से जमानत पर है। यह मानव हत्यारा ही नहीं लोकतंत्र का भी हत्यारा है जिसने बिना किसी चुनाव के साधन सहकारी समिति गंज जलालाबाद पर अपनी दबंगई और आपराधिक छबि के चलते साधन सहकारी समिति का अध्यक्ष बना हुआ है। यह अपने द्वारा किए हुए अपराधों से बचने हेतु जिस दल की सरकार होती है उसी को अपना आका बना लेता है। गंज जलालाबाद में इसका परिवार ढाई दशक से अधिक ग्राम प्रधान रहा है जिसकी लूटपाट के चर्चे आम जनता की जुबान पर है। वर्तमान समय में प्रधान अभिषेक दीक्षित के नेतृत्व में गंज जलालाबाद का जितना विकास कार्य हुआ है वह देश आजाद होने से लेकर अब तक नहीं हुआ था। गंज जलालाबाद में पेयजल के लिए पानी टंकी, घर-घर पेयजल कनेक्शन, राजकीय प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र, ग्राम के लिए विद्युत पावर हाउस, राष्ट्रीय शिक्षा मिशन के अंतर्गत दो उच्चतर माध्यमिक विद्यालय, नवीन पुलिस चौकी का नव निर्माण, संविलियन विद्यालय का पीएम श्री योजना में चयन, श्रद्धेय श्री अटल बिहारी बाजपेई रिसोर्स सेंटर एवं लाइब्रेरी, नक्षत्र शाला का निर्माण, स्थायी गौशाला का निर्माण, कुड़ा घर का निर्माण व वर्षो से बंद पड़े इंडिया मार्का हैण्डपम्पो को रिबोर कर चालू करने के साथ ही अन्य का मरम्मत कार्य सहित सम्पूर्ण गांव में नई नालियों का जाल बिछाया जा रहा है। खेतहरा, देवी पुरवा,अरखाने, मिश्राने में इंटरलाकिंग नई सड़कों के निर्माण के साथ-साथ अन्य जगहों पर नयी इंटरलॉकिंग सड़कों का निर्माण कार्य अभी चल ही रहा है। कृषको के बहुउद्देश्यीय लाभ के लिए चकबंदी शुरू कराई गई ताकि गांव में विकास के लिए भूमि उपलब्ध हो सके। जिसमें भी कुलदीप कटियार सहित अन्य अराजक तत्वों द्वारा चकबंदी में रुकावट पैदा करने का कुत्सित प्रयास करता है। गंज जलालाबाद में अभिषेक ने वृद्धावस्था पेंशन का कैंप लगवाकर 300 से अधिक वृद्ध पुरुष महिलाओं को पेंशन दिलाई जा रही है। गंज जलालाबाद को नगर पंचायत बनाने के निरंतर प्रयास चल रहे हैं और निकट भविष्य में गंज जलालाबाद नगर पंचायत का दर्जा भी प्राप्त करेगा। गंज जलालाबाद ग्राम के विकास के लिए योग्य एवं युवा ग्राम प्रधान अभिषेक दीक्षित की गांव तथा क्षेत्र में स्वच्छ छवि है। सूत्रो के अनुसार अब ग्राम पंचायत का चुनाव आते देख अभिषेक को बदनाम करने के लिए अपराधी कुलदीप कटियार, भ्रष्टाचारी राजेश कुमार लेखपाल तत्कालीन डीएम एम पी सिंह ने एक सुनियोजित योजना के तहत भ्रष्टाचार के आरोप में फंसाने का प्रयास किया जा रहा है। सजा आफ्ता अपराधी कुलदीप जिसका परिवार एवं राजेश कुमार पूर्व लेखपाल की पत्नी भारी मतों से चुनाव में हारी हुई थी। भविष्य में गंज जलालाबाद की जनता ऐसे भ्रष्टाचारियों अपराधियों को कोई महत्व नही देती है। उक्त लोगो ने योजनाबद्ध ढंग से विकास कार्यो की फर्जी शिकायत शपथ-पत्र देकर डीएम को दिलाई थी। डीएम ने एक जांच कमेटी डी डी ओ कमलेश कुमार एवं प्रदीप पाल ग्रामीण अभियंत्रण विभाग के नेतृत्व में 7 मई 2025 को गंज जलालाबाद में हुए विकास कार्यों की स्थलीय जांच कराई गई थी। जिसमें ग्राम प्रधान अभिषेक उपस्थित नहीं थे और न ही शिकायत करता अपराधी कुलदीप कटियार ही मौजूद था। विकास कार्यों को कमेटी ने देखा और चले गए। पुनः जांच कमेटी 14 मई को जांच करने आई ग्राम के विकास कार्यो का निरीक्षण किया। इस बार अपराधी कुलदीप कटियार भी मौजूद था लेकिन ग्राम प्रधान अभिषेक दीक्षित गांव से बाहर होने के कारण उपस्थित नहीं हो सके। ग्राम पंचायत का आम जनमानस प्रधान के विकास कार्यो से संतुष्ट था तथा उनके किसी भी निर्माण कार्य में कोई विरोध नहीं था। ग्रामीणों ने उपस्थित डीडीओ एवं अधिशासी अभियंता से यह भी कहा इस ग्राम में 25 वर्षो से कोई विकास का कार्य नहीं हुआ था। अभिषेक दीक्षित द्वारा कराए गए कार्यो से हम संतुष्ट है। इससे परेशान होकर जांच दल को कहा कि जांच रिपोर्ट गलत व तथ्यहीन दिखाकर प्रधान को दोषी ठहराए। डीडीओ तथा अधिशासी अभियंता ग्रामीण ने तथ्यहीन, झूठी एवं मनगढ़ंत रिपोर्ट डीएम को प्रेषित की है जिसका कोई आधार ही नहीं है।जनपद से लेकर शासन तक को पता है कि गंज जलालाबाद के पंचायत भवन में पुलिस चौकी चल रही है जिसको खाली कराने के लिए डीएम एमपी सिंह ने ही आदेश किए थे लेकिन खाली नहीं हुई थी। तब अभिषेक दीक्षित के प्रयास से पुलिस चौकी भवन के लिए शासन से 2.75 लाख रूपया मंजूर कराया था। अब पुलिस चौकी का निर्माण कार्य तीव्र गति से चल रहा है। वही जो भी इंटरलाकिंग गलियों में खरंजों के बेस पर लगाई गई है गिट्टी का कोई भुगतान भी नहीं लिया गया है। गंज जलालाबाद में कुलदीप के परिवार ने अपने ही उपयोग के लिए विकास भवन बनवाया था जो सार्वजनिक स्थल पर नही बना है वह भी आज तक ग्राम पंचायत को स्थानांतरित भी नहीं हुआ है। दुसरा पंचायत भवन मजरा देवीपुरवा में बना हुआ है जो जीर्ण-शीर्ण हालत में है। नियमानुसार ग्राम पंचायत का समस्त रिकॉर्ड पंचायत सचिव के पास होता है न कि प्रधान के पास ? कुलदीप की शुरु से ही आतंकी पृष्ठ-भूमि रही है, जोकि एक सजा आफ्ता मुजरिम है और जमानत पर है। सूत्रों ने बताया है इनके परिवार का प्रधानी कार्यकाल जनता के लिए भयावह रहा है। ग्राम पंचायत के लोग हमेशा डर और आतंक जैसे माहौल में रहें हैं। इनकी ही पुत्रवधू पूर्व प्रधान चित्रा कटियार पर 24 लाख रुपए की रिकवरी निकली थी जो आज भी पैन्डिग है। इनके लिए गांव के विकास की बात तो बहुत दूर की बात है सिर्फ प्रधानी के नाम पर खाना पूर्ति करके अपना और अपने गिरोह का खर्चा उठाते रहें? ऐसे अपराधियों एवं भ्रष्टाचारियों को छोड़कर जिला प्रशासन दबाव में आकर स्वच्छ छवि वाले ग्राम प्रधनों को फंसाने में लगा हुआ है। जबकिकई जगहों पर भ्रष्टाचार हुआ है उसे जिला प्रशासन नही देख रहा है? ये तो वही बात हुई कि "अंधेर नगरी चौपट्ट राजा,टके सेर भाजी टके सेर खाजा"!