- विनोद कुमार पांडे ब्यूरो चीफ चिरमिरी की खबर
बरसात से चिरमिरी तहस-नहस : मंडराया खतरा, कोयला खदानों की गैस और ब्लास्टिंग ने भी.बढ़ाई परेशानी
लगातार हो रही मूसलाधार बरसात ने चिरमिरी शहर की तस्वीर बदल दी है। तीन दिन से हो रही बारिश ने शहर के कई वार्डों में जनजीवन अस्त-व्यस्त कर दिया है। निचली बस्तियों में मकान जर्जर हो रहे हैं, पहाड़ों से मिट्टी और पेड़ गिर रहे हैं, सड़कें बंद हो रही हैं, तो वहीं सीसी रोड हवा में लटककर किसी बड़े हादसे का इंतजार कर रही है।वार्ड क्रमांक 19 (स्टेशन धक्का दफाई) और वार्ड क्रमांक 13 (रेलवे स्टेशन टैक्सी स्टैंड) सबसे ज्यादा प्रभावित बताए जा रहे हैं। वार्ड 19 के ऊपरी बस्ती से मिट्टी और पेड़ गिरने से नीचे की बसे बस्ती के टॉयलेट-बाथरूम पूरी तरह क्षतिग्रस्त हो गए। बाल-बाल बच्चे और घरवाले बच पाए, वरना बड़ा हादसा हो सकता था। घर वालों ने घर छोड़ने का लिया निर्णय बांध अपना सामान. वहीं रेलवे स्टेशन.टैक्सी स्टैंड के आगे क्षेत्र में पहाड़ धसकने से सीसी रोड पूरी तरह जाम हो गया। नगर निगम की टीम ने मौके पर पहुंचकर सफाई और रास्ता बहाल तो कराया, लेकिन खतरा अभी भी टला नहीं है। आने वाले दिन पर लगातार और बरसात होती है तो और भी ज्यादा या खतरा पहाड़ और मिट्टी धसकने से हो सकता है
स्थिति इतनी भयावह है कि वार्ड 19 में ऊपर लटकता सीसी रोड कभी भी नीचे की बस्ती पर गिर सकता है। यही नहीं, ऊपर की बस्ती में बने प्रधानमंत्री आवास योजना के अधूरे मकान भी ऊपर की बस्ती में बने हैं, जिन पर बारिश और धंसकते पहाड़ों का सीधा खतरा मंडरा रहा है। और आने वाले दो-चार दिन में अगर लगातार बारिश होती है तो पूरी तरह से इस स्थान वाट का जन जीवन प्रभावित क्षतिग्रस्त और कई बड़ा दुर्घटना हानी का नुकसान हो सकता है हवा में लटकते सीसी रोड और खतरे में बना ऊपर का मोहल्ला और पीएम आवास निर्माण कभी भी धरसही क्षतिग्रस्त होकर नीचे गिर सकता है
बरसात से तबाही के साथ-साथ चिरमिरी को एक और दोहरी मार झेलनी पड़ रही है। एसईसीएल की कोयला खदानों से होने वाली लगातार ब्लास्टिंग और फायर एरिया से उठता धुआं लोगों के स्वास्थ्य और जीवन के लिए गंभीर खतरा बना हुआ है। कई जगहों पर जमीन से जहरीली गैस निकल रही है, दीवारों और सड़कों में दरारें पड़ रही हैं। शहरवासी बरसात और खदानों की इस दोहरी मार के बीच खुद को असहाय महसूस कर रहे हैं। क्योंकि यह सबसे ज्यादा बरसात के समय और भी ज्यादा खतरनाक हो जाता है जमीन पर निकलते जहरीले गैस के दरारे और धुआं पर पानी घुसने से या इस तरह की घटना आए दिन बरसातों में बने रहती है
स्थानीय लोगों का कहना है कि न तो नगर निगम की ओर से कोई ठोस कदम उठाए जा रहे हैं और न ही एसईसीएल प्रबंधन राहत देने की दिशा में कोई गंभीर पहल कर रहा है। हालत यह है कि लगातार बढ़ती समस्याओं से परेशान होकर चिरमिरी के लोग शहर छोड़कर बाहर पलायन करने पर मजबूर हो रहे हैं।
चिरमिरी, जो कभी पर्यटन और प्राकृतिक सुंदरता के लिए पहचाना जाता था, आज अस्तित्व के संकट से जूझ रहा है। सवाल उठता है कि अगर इसी तरह बारिश, गैस रिसाव और ब्लास्टिंग का खतरा बना रहा, तो आने वाले समय में इस शहर का भविष्य अंधकार और खतरा की और बढ़ता शहर नगर निगम के द्वारा विकास तो लगातार किया जा रहा है खोज-खोज के नाली भवन निर्माण बनाया जा रहा है लगभग 90 से 80 परसेंट निर्माण कर पूर्व की सरकार के द्वारा किया गया लेकिन चिरमिरी का अस्तित्व भविष्य भगवान भरोसे और वर्तमान सरकार के द्वारा भी निर्माण लगातार किया जा रहा है मगर यह चिरमिरी का शहर विकास होने के बावजूद इस शहर की घड़ी रुक रुक के चल रही है पीछे की ओर जाता यह शहर निगम प्रशासन निर्माण.तो करता और निर्माण कार्य भवन पर लग जाते हैं ग्रहण कहीं बुलडोजर चल जाते हैं तो कहीं स्ट लग जाता है तो कहीं खुद ही निर्माण धारा सही हो जाता है चिरमिरी के एसईसीएल कोयल खदान के ब्लास्टिंग और जमीन में लगे आग की फायर के वजह से निकलते गैस और धुआं का जीता जागता उदाहरण चिरमिरी में जगह-जगह देखने मिल रहा है और जिसका साक्षात या परिणाम इस घटना से भी प्रमाणित होता है कि कुछ दिन पहले इस स्थान पर जहरीली गैस के निकलने से जमीन पर दरार और सीसी रोड तक पड़ गई थी और आज बरसात से इस तरह का कहर ढाया की सब कुछ बह गया बरसात में अब इससे आप अनुमान लगाया जा सकता है कि आने वाले पीढ़ी और भविष्य चिरमिरी का नगर निगम और एसईसीएल के बीच लाटका दो तलवार बीच में कटता शहर
---
--